तोड़कर रिवाजों को, थाम लें परवाज़ों को,
चलो संग आज़ाद हो जाएँ,
ओ मेरे चाँद! तुम और मैं!
छोड़कर क़ाफ़िलों को, बढ़ चलें मंज़िलों को,
चलो संग आबाद हो जाएँ,
ओ मेरे चाँद! तुम और मैं!
चीरकर ये मायूसी, तन्हाई और बेबसी,
चलो संग बर्बाद हो जाएँ,
ओ मेरे चाँद! तुम और मैं!
Todkar riwazon ko tham le parwazon ko,
Chalo sang azad ** jaye,
Mere chand! Tum aur mai!
Chhodkar kafilon ko, sang badhen manzilo ko,
Chalo sang abad ** jaye,
Mere chand! Tum aur mai!
Chirkar ye mayusi, tanhai aur bebasi,
Chalo sang barbad ** jaye,
Mere chand! Tum aur mai!