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फिलीस्तीनी और यूक्रेनी
पिस रहे हैं युद्ध की चक्की
रूसी और इजराइली भी
होंगे दु:खी यह बात है पक्की
मानवता को रख सर्वोपरि
कूटनीति से बने कोई काम
कूटनीति है समझ निराली
यह नहीं है व्यवहार मवाली
शान्ति में छिपी खुशहाली
शान्ति है जीवन की लाली
कविता में लिख भेजी है
मैंने अपने मन की बात
ज्यादा लिखी व्यथा कहलाए
इतना ही कविता दिवस पर
लिखना एक कवि के हाथ।।
सुनीता विलियम्स और बुच मोर
आज पहुंच गये अपनी ठौर
देख नजारा चमत्कार सा
आज नींद उड़ गई सबकी भौर
ज्यों ही सुनीता नीचे आई
शेयर मार्केट में भी जान आई
हमारे अपने हैं टोटके
अब होगी डूबत भरपाई।।
Mar 14 · 62
Holi Haikus
Mohan Jaipuri Mar 14
Roads appear lying coloured gardens
And without any vehicle on them
For today it Holi happens

Some people are hidden in homes
Scared of being painted
But painters may appear from within homes

Cheeks are red & hairs dead
On entering ones own street
Dogs bark and look afraid

Country side people dance on 'Daff's tune'
Jumping as if buttrflies on flowers
Radianting energy under light of moon
Mohan Jaipuri Mar 13
श्याम वर्ण सांवरा
गौर वर्ण राधा
होली का त्योहार
हरे सबकी बाधा।।
रंगों के बहाने सही
बाहर आये दुविधा
साखों पे आये हैं पल्लव
देख खिल रही वसुधा।
बड़ों की आशीष से
कोई रहे ना अछूता
भावों में जो रंग है
भावों से ही बरसता ।
भावों का रंग जो छूटा
दुबारा‌ नहीं चढ़ता
भावों के बिना किसी
का कुनबा नहीं बढ़ता।।

हैप्पी होली।।
Mohan Jaipuri Mar 11
खोफ इतना भी ना हो
सच्चाई ना कह सकें।
जंगल में भी भागने का मौका मिलता है
इन्सानों की बंदिशें कितनी हैं तंग
साथ रहते- रहते भी लोग हैं असंग ।
अब यह व्यापार हो गया है
मैं बोलूं , वही तू बोले
तेरे पीछे नहीं तो पड़े हैं मेरे मलंग ।
खाने की बात पर मच रहा है हुड़दंग
कोशिश नहीं कर सकते जानने की
खुद हुड़दंगी कितने हैं बदरंग ।
लिखने वाले भी अब तो
बच रहे सीधी सपाट से
शायद वो भी कहीं ना कहीं हैं पंचरंग ।
किताबें भी अब हैं फैंसी
डिजिटल बुक पढ़ें तो ज्ञानी हैं
नहीं तो तुझमें कहां है उमंग ।
पहनावा बदनाम हो गया
जैसे त्यौहार होली, लार खुद के टपके
बदनाम हो रही है भंग‌ ।
रिश्तों की क्या बात करें
साथ बैठना छुटा, मोबाइल का है संग
देखते ही देखते रिश्तों को लगी है जंग‌ ।
टिटनेस इसका फैलेगा जिसका नहीं इंजेक्शन
बातों में अब नहीं लगता किसी का मन
इसीलिए मिडिया ने घड़ा शब्द कंजेशन ।
खोफ इतना भी ना हो
सच्चाई ना कह सकें
सोचना तो पड़ता है क्योंकि
जी‌ रहे हैं दुविधा के संग।।
Mar 8 · 109
महिलाएं
कवि का भाव
सौंदर्य की मिसाल
करूणामय।

ममत्व मूर्त
संघर्ष की सूरत
सुलहमय।

मिले तो धीर
बिगड़े शमशीर
तेज तासीर।

घर की धूरी
हर जगह पूरी
रखे सबूरी।

झुके यम भी
जब बने सावित्री
निभाये मैत्री।

बाहर जीत
अपनों से हारती
नारी भारती।

बदला वक्त
बन रही सशक्त
बेड़ियां हैं मुक्त।

स्वच्छ फिजा में
स्वेच्छा से हों फैसले
तो दिशा बदले।
# International women's day
Mar 5 · 93
ठिठोली
मिलकर खिले चेहरे
गाल हुए मिल्की - मिल्की
फोटोग्राफर ने कहा बाल
भी हैं अभी सिल्की -सिल्की
सुनकर यह ठिठोली हरियाली
भी  मुस्कराई हल्की-हल्की।।
Mohan Jaipuri Feb 28
यह कुछ ऐसा ही ‌है
जैसे घी तोलते
घी पी लेते हैं हाथ
साथ रहते - रहते
बन जाती है बात।

जैसे पतझड़ में अनयास
पतों की बरसात
बरसात में भीगकर
आती गर्माहट की बात।

जैसे अंधेरे में रहते
अनपढ़ के उद्गार
अक्षर के प्रकाश से
खोल देते नये द्वार।।

हां यह कुछ ऐसा ही ‌है
जैसे पढ़ते - पढ़ते कोई किताब
याद आती लेखक की बात
बात से ही निकलती बात
पूछ बैठते खुद से ही औकात।

यह कुछ ऐसा ही ‌है
जब पढ़ते हैं हम कोई तहरीर
खुद को भी देखते हैं उस जहां
करने लगते हैं खुद से बातें
शायद यही है कवि का कारवां।।
Feb 26 · 58
Knowledge hub
Mohan Jaipuri Feb 26
It's better to laugh alone
After reading a book
Than to laugh with a
crowd in a pub
First one makes you
A knowledge hub
Another makes you
a wilful cub.
Feb 24 · 175
Actions
Mohan Jaipuri Feb 24
Our action is reciprocated
By a nonspeaking child
By a book we read
By a stone we worship
By everything of this world
Be true to our actions
Feb 23 · 43
Complaints
Mohan Jaipuri Feb 23
Now where are those people
Who care about complaints
Now people speak for complaints
and weigh whether anyone oppeses.
Mohan Jaipuri Feb 23
अब वो लोग कहां हैं जो समझे
कि कोई शिकायत तो नहीं
अब शिकायत वाली बात बोलते हैं
तोलते हैं कि शिकायत आये नहीं।।
Mohan Jaipuri Feb 22
KBC के श्रोताओं में से जिसे
नाम से जानते बासठ प्रतिशत
मेरा फोटो उसके साथ
वाह! कितनी गजब है बात।
चोबीस में थोड़ी हुई मुलाकात
पच्चीस के शुरू में छा गया तात
कुछ लोग रूपये की करते बात
असली सोना तो है औकात।
सदा सरल और सादगी को
हमेशा रखता अपने साथ
ब्यूरोक्रेसी से ज्यादा गणित पर
आज भी आजमाता हाथ।
शेर-ओ-शायरी और गजल
टूट पड़े जो मिले पजल(Puzzle)
रहता मिलकर सबके साथ
नखरे वालों से तंग है हाथ।।
Feb 22 · 103
कमसिन
Mohan Jaipuri Feb 22
यह तेरा दिल,यह मेरा दिल
यह दिल बहुत हसीन है
उम्र के तराजू मत तोलना
प्यार हमेशा कमसिन है।
Mohan Jaipuri Feb 19
हे स्वर्ण केशी
लम्बे सफ़र पर
शुरू है पेशी।

भजले राम
सरकारी दफ्तर से
निपटा काम।

सेवा पेंशन
सम्मान से मिलता
अच्छा राशन।

आये धुंधल
उससे पहले ही
देख काबिल।

जीवन तेरा
जो औरों ने सराहा
घर में हारा।
Feb 17 · 105
एक परी आए
Mohan Jaipuri Feb 17
रात में श्वेत सुंदर एक परी आए
मुझको आकाश की सैर कराए।
चांद तारों को छूकर बताए
कहानी इनकी मुझको बताए।
मनुज का अगला घर दिखाए
खाने-पीने का सामान बताए।
फुर्सत के पलों के श्रृंगार दिखाए
इन पलों का हिसाब ना लगाए।
गाना सुनाकर वापस छोड़ने आए
फूलों सा मेरा मन महकाए
काश!काश! यह जल्द हो जाए।।
Feb 16 · 59
सियासत
Mohan Jaipuri Feb 16
अपने डांटकर बार- बार लूटते हैं
पराये मीठे बन मौके की नजाकत से
एक तरफ है तमाशा, दूसरी और ड्रामा
सभी वाबस्ता हैं इस सियासत से।।
Mohan Jaipuri Feb 14
हीरा‌ सा दिल देखकर
निकला‌ इश्क मेरा
उम्र ढलती शाम है
सच्चे प्यार सवेरा।।
Mohan Jaipuri Feb 13
मैंने चूम ली वह तस्वीर
जो थी कप एक कॉफी
मुझे ' चुम्बन दिवस ' पर
वह तस्वीर लगी एक ट्रॉफी
सामने वह नहीं ना कभी होगी
नज़रों में बसी उसकी तस्वीर
मेरे वाक्यों को बना रही उसका
जैसे बना लेती है एक 'अपोस्ट्रोफी'।
Mohan Jaipuri Feb 13
Kissing a pic of cup filled with coffee sent by her
On this kiss day is like I have got a good trophy
Though she is not before me & never would be
But  imagine of her face before me makes my sentences of hers as is done by an "apostrophe".
Feb 12 · 103
मकाम
Mohan Jaipuri Feb 12
मधुमास की हरियाली
और फूलों की महक
मुझको भूली है वह
याद कर रहा नाहक।
अपना‌-अपना‌ नसीब
किसी को मिले दर्द
ओ बेदर्दी के सबब
और किसी को 'हग'।
भावनाओं को उजागर
करना देख मकाम
तीर निशाने ना लगे
तो बड़े बुरे हैं अंज़ाम।।
Mohan Jaipuri Feb 11
आ रहे नव पल्लव
जा रही है खिजां
युवाओं के मिलन में
बिक रहे हैं पिज्जा ।।
रोज डे पर गर्व से
तोड़ा एक ग़ुलाब
अदब से थमा दिया
करीब से देख शबाब।
प्रपोज डे के दिन
घंटों किया रियाज
बोलना था मेरी होज्या
पर आड़े आया रिवाज।
चोकलेट डे बटोरा
थोड़ा सा होंसला
थोड़ा हाथ फिसला
मौका हाथ से निकला।
टेडी डे आते-आते
बदली उसकी चाल
एक भालू साथ दिखा
मेरे लिए बचा मलाल।
प्रोमिस डे पर बस
खुद से किया वादा
भारत में काम का नहीं
हरगिज़ यह सौदा।
आ रहे नव पल्लव
जा रही खिजां
युवाओं के साथ मिल
बजावां होली का बाजा।‌।
Mohan Jaipuri Feb 11
आ रहे नव पल्लव
जा रही है खिजां
युवाओं के मिलन में
बिक रहे हैं पिज्जा ।।

Happy Promise day
कमल छोड़ प्रहलाद के आए
     टू स्टार से थ्री स्टार
सरदारशहर के सरोकार
जयपुर चौपड़ आ टकराए।।
दिल्ली चुनाव परिणाम पर कांग्रेस और आप
            के लिए एक मुहावरा
" भाई मरने का मलाल नहीं पर भाभी का नखरा तो उतार दिया"😀।
शहर में होकर‌ शहर के नजारे
हों तो कोई नई बात नहीं
देखे जब शहर में गांव के नजारे
तो खुद से मुलाकात हुई ।
पीछे फार्म हाउस के नजारे
सामने पार्क में जोड़ों ने
नीम की छड़ियों से
एक-दूसरे पर बरसात की
बरबस ही दिन की गांव
जैसी ही शुरूआत हुई।।
Feb 6 · 160
एक अटेची
आज एक अटेची खोली
अटेची छोटी , बात बड़ी
एक ड्राइवर की समझ की
यह बन गई सुनहरी कड़ी।।
Feb 5 · 88
ठिकाने
ठिकाने बदलने से दिल नहीं बदलता
बैठने को वही खाट, रहने के वही ठाट
नये दोस्त बनाना थोड़े मुश्किल है
पुराने चेहरों की दिल देखता है बाट।।
Feb 4 · 116
Retirement Diary
First view from my room on
First floor of my house.
A mixture of Enjoying & Missing

मैं बाद में घर पहुंचा
पहले घर पहुंचा मेरा
पेंशन पेमेंट आदेश
देखकर‌ दिल खुश हुआ
दिल ने दी आशिष।
ब्रेकर लगाने की तरह
RVPN तेरी तत्पर सेवा
धूप, छांव , बरसात की
ड्यूटी का यों मिला है मेवा।
घर मेरा लगता है
जैसे बगीचे में है बसा
ब्रेकर लगने की तोप सलामी
और ट्रांसफॉर्मर के हमिंग को
मन आज बहुत तरसा।।
     🙏🙏🙏🙏
Mohan Jaipuri Jan 26
अब लोगों को याद कहां
गणतंत्र का मतलब
एक झण्डे के नीचे खड़े हैं
हर समानता कलमबद्ध
पूछो‌ अपने पूर्वजों से कभी
यूनियन जैक के करतब।।
Jan 24 · 100
भौंरा
Mohan Jaipuri Jan 24
आंखों ने जब दावत दी
होठों से दिल जा टकराया
लाली गालों की फूलों सी
महक-ए- बदन ने भौंरा बनाया।।
Mohan Jaipuri Jan 23
एक रुद्राक्ष बेचने वाली लग रही
जैसे खुद हो एकमुखी रुद्राक्ष
मिडिया को भी यह भ्रम है
जैसे वही है महाकुंभ का अक्ष।।
Mohan Jaipuri Jan 20
गुलाबी फित्ते लिपटा सफेद गुलाब
जैसे बयां करता मिलन की आग
तूने बिन सोचे यों ही भेज दिया
मैं  किस सूरत में लिखूं जवाब।।
Mohan Jaipuri Jan 15
मौसम बदल रहा है
धूप शर्मा कर निकल रही है
खाने-पीने, पहनने
की चाहत पनप रही है
पतंगें आकाश को
रंगीन बना रही हैं
तूने जो पतंग उड़ाई
मेरा बचपन लौटा
पार्क हुआ गुलजार
ख्यालों का नहीं टोटा
पल में सदियां जीने में ही
असल जीवन है सिमटा
कहे 'मोहन' सुन बेटा वक्त को
तूने है बड़ा सलीके से पलटा ।
Mohan Jaipuri Jan 14
मकर संक्रांति आई
तिल तड़क्या,दिन भड़क्या
पतंग उड़ाई, डफ ढूंढा
फागण के चाव में बिगड़े मुंडा ।
Jan 12 · 110
खुराक
Mohan Jaipuri Jan 12
लिखता हूं, अच्छा लगता है
और लिखता हूं तभी पढ़ता हूं
कोई टिप्पणी करता है, सीख मिलती है
टिप्पणी नहीं करता, सुधार की जरूरत है ।
दस लोग जुड़ते हैं , दस मित्र हैं
ज्यादा संख्या हो अच्छा है
ज्यादा मित्र नहीं होते, प्रशंसक होते हैं
प्रशंसक स्थाई नहीं होते, मित्र स्थाई होते हैं ।
लिखता रहूंगा मित्र हैं, समय है
लिखना मेरी खुराक है
प्रशंसक जुड़ना मुराद है
मुराद पूरी हो ना हो, खुराक से जीवन है।।
Jan 10 · 109
दीद
Mohan Jaipuri Jan 10
इस कदर तेरे दीद से नाता
और संदेश का फाका है कि
जब तेरे प्रोफाइल से गुजरे तो
बिन कुछ लिखे जा नहीं पाया ।
Jan 9 · 56
पतझड़
जीत हमारी इतनी चर्चित नहीं होती
अगर हार के किस्से यों आम ना होते।
गर बदजुबानी तुम्हारी सामने ना आती
मिलने पर शायद हम यों ना मुस्कुराते ।
पतझड़ यदि‌ कभी नहीं आती
भूल जाते हम भी किसी शाखा पर हैं रहते।।
अब लम्बी कविताओं का वक्त नहीं
ना ही बचे हैं लम्बे रिश्ते
शोसल मिडिया परोसता वासना के  किस्से
घरों में तड़प रहे मां - बाप से फरिश्ते
किताबें कोई छुता नहीं,डिजिटल बोर्ड टंगे दीवार
ज्ञान कोई लेता नहीं , डिग्रियां बिकती सस्ते
शारीरिक श्रम से विश्वास हटा,रोग मिले महंगे
मशीनों के सहारे ही अब कट रहे हैं रस्ते।।
Jan 5 · 112
झुमका
झुमका देखूं रे जब - जब किसी
सुन्दरी के कान में
मुझको वो दिन याद आते हैं जब
छूटता था पसीना सोनी की दुकान में 😀।।
Jan 5 · 63
गर्मी
जो बातें तू कह नहीं पाती
वो तेरी आंखें कह जाती
होठों के शोलों से आती
गर्मी है सर्दी को चिढ़ाती।।🔥
Jan 4 · 122
अदायें
ये आपकी अदायें
ये अनकही सदायें
हमें बहुत सतायें
ज्यों बादल घिर आयें
हम मयूर होकर भी
नाच ना पायें।।
एकजुटता तीस मार्च की
अनौपचारिकता इकतीस  की
बेटे की शादी की यादें हैं चोबीस की।
'तरार' पर बातें करना दिल छू गई युद्धवीर की
सास मेरी ठहरी‌ जो 'तरार' साधासर की।
जूठे हाथ भूलकर हाथ मिलाना झुकककर
संगीता की आत्मीयता यादें है चौबीस की।
पच्चीस पूरी ना कर‌ सकेगा वादा यह के पी का
भाभीजी से मुलाकात कराना बात रही दूर की।।
Jan 1 · 144
नया साल
सुबह अदरक वाली चाय
नाश्ते में बटर -  टोस्ट
घूमने को मिले बगीचा
वही साल है सच्चा ।
दोपहर में लस्सी मिले
रात को एक गिलास दूध
समाचारों में खेल आगे
वही साल सच्चा।
सोशल मिडिया की
सिरफुटव्वल से
जीवन में ना हो सामना
आजमाना किसी को ना पड़े
वही साल सच्चा।
कोई तो साथी ऐसा हो
बेझिझक दे दें गुलाब
वो स्वीकार करे कहकर अच्छा
वही साल है सच्चा।
कविताओं वाले ठीक हैं
वाह ! वाह! लिख देते हैं
सिलसिला यह जारी रहे
दाद दे हर नौजवान और बच्चा
वही साल सच्चा।
Dec 2024 · 45
2024
Mohan Jaipuri Dec 2024
Gone is gone
Muscle or bone
Not alone
This is known
Job was zone
Phone was 'On'
2025 will born
On foundation of it with
Appotunities Unknown
Greetings to all
For a merrier hall
Dec 2024 · 69
इन्बोक्स
Mohan Jaipuri Dec 2024
जमाना बेमिसाल , मैसेज हैं कमाल
मोबाइल पर ही समय बीत जाता है
विडियो काल तो सब अनचाही
लालसाओं को पंख लगा जाती है।
तेरे इन्बोक्स में आकर मेरा
फ्लर्ट निकल जाता है
दो घड़ी के लिए ही सही
मेरी दुनिया बदल‌ जाती है ।
यहां कौन किसका है
यह तो वक्त ही बताता है
पर दो पल तेरे इन्बोक्स में
आकर मेरी रूह ताजा हो जाती है ।
गर्म तेरा  मिजाज जो हो
दिल मेरा काम में लग जाता है
गर मिजाज तेरा शायराना हो
अंदाज-ए-बयां मेरा गजल बन जाती है।‌
नजर अंदाज कर दो मुझे तो
मेरा वजूद समझ में आता है
गर दे दो थोड़ा हौंसला
मेरी बांछे खिल जाती है।
Dec 2024 · 59
हाल-ए-दिल
Mohan Jaipuri Dec 2024
ये चहकती चिड़ियां
ये खिलखिलाते फूल
यह मासूम सी बच्ची
चुन रही प्यारे-प्यारे फूल
आड़ में इनकी तेरा
हाल-ए- दिल कबूल
मिल ना पाये तो क्या हुआ
सब देख रहा रसूल ।।
Mohan Jaipuri Dec 2024
मनमोहन सिंह जी मौन हुए
जगत गिना रही उनके काम
कम शब्दों को लेते थे काम
काम ही बन गया था पैगाम
सफल और सच्चे सेवक‌ थे
एक सुर में गा रही अवाम।।
Dec 2024 · 123
याद
Mohan Jaipuri Dec 2024
हर पल तेरी याद सताये
लगता जैसे अब जिया ना‌ जाये
जी तो रहा हूं  इसलिए क्योंकि
जिए बिना तेरी याद कैसे आये ?।
Dec 2024 · 76
झूठ
Mohan Jaipuri Dec 2024
खुशियां झूठ हैं
दर्द अटूट
समझा जिसने
वो गया छूट।।
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