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Tanmayp Feb 4
अपनी यारी को हम तस्वीरों में रखा नहीं करते, उसे दिल में सजा के हमने है रखा।

निकली होगी आके दूजा की सातों पीढ़ियाँ, मगर कभी दिल पे किसी ने ना लिया।

गाली देते न हम हकीकत में कभी, वादे न निभाते हम सिर्फ़ लफ़्ज़ों में कभी।

मोहब्बत से पहले आती है यारी, ज़िंदगी के हर पड़ाव पर चाहते हैं हम, मोहब्बत से पहले यारी।
Thank for reasing do like if you love it
97 · Feb 1
Dosti
Tanmayp Feb 1
Jannat jaiga pata nahi
bhala jai jahannum ham sabhi, bhala jai jahannum ham sadhi
Bas sath ** asa waha par bhi, waha par bhi
Tanmayp Feb 3
सपना कभी सही राह नहीं होता, अपना हमेशा सही इंसान नहीं होता,
कभी गैरों पर भरोसा करके देखो, कभी क़ाबिलियत से आसमान छूकर देखो।
राहें तो बदलती हैं, पर इरादे नहीं बदलने चाहिए,
विश्वास भी टूटे, तो खट्टे आमों में, मिठा वाला ढूंढ़ना चाहिए।
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Thanks for reading
84 · Feb 2
एक फुल
Tanmayp Feb 2
शायद तुम्हे उसके सुगंध से मतलब हो
मगर हमे उसकी खूबसूरती चाहिये
तुम काटो से उसकी कमियाँ ढूंडते हो
कभी उसके काटो मे खूबसूरती तो देखो
Thanku for reading
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Tanmayp Feb 10
तू चाँद है, मैं वो आसमाँ हूँ,
तू बोल है, मैं वो जुबाँ हूँ।
तू कविता है, मैं वो कवि हूँ,
तू खुश-नसीबी है, मैं वो खुश-नसीब हूँ।
आख़िर तू मोहब्बत है, और मैं बस एक नादान हूँ।
तू एक हकीकत है, और मैं बस एक चलवा हूँ।"
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Tanmayp Feb 2
तेरी कहानी कागज़ के पन्नों पर लिखना चाहता हूँ,
तेरी तस्वीर दिल की दीवार पर सजाना चाहता हूँ।
मैंने माँगा है तेरा साथ, आकर नया संसार बसाना चाहता हूँ,
मरने के बाद भी तेरी प्यारी यादों में डूब जाना चाहता हूँ।
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and thanks for reading
Tanmayp Feb 4
तेरी आँखों में यूँ डूब सा गया,
तेरे चेहरे में यूँ खो सा गया।
शायर था, पर शायरी लिखना भूल गया,
सोचा था लफ़्ज़ों में उतारूँ तुझे,
पर वो लफ़्ज़ ही नहीं मिले, जो निखार सकें तुझे
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33 · Feb 1
Kya ma sahi tha
Tanmayp Feb 1
Unha bhul jana sahi tha,
Unki yad ma rona sahi tha
magar Kya Wo kadhi hui na mare ,
ya sochkar jindagi bhar tut jana sahi tha
Kasa laga kripaya batae
Tanmayp Feb 3
परछाई यो में छिपा रहा मैं उम्र भर,
दुनिया से डरता रहा मैं जिंदगी भर।
जब एक बार गिरा तो अपनों ने नकारा कह दिया मुझे,
अब क्या कहूं मैं उन्हें?
साथ खड़े थे लोग उनके,
खड़ा हुआ हूं मैं खुद से।
शायद दिखी होगी रोशनी, उम्मीद कि उन्हें,
मगर मैं खुद बना वो रोशनी,
जो मिटा दे परछाई, जो कभी पकड़ाए थे मुझै।
This captures what I am truly I really feel every word of this writing

— The End —