Submit your work, meet writers and drop the ads. Become a member
Jul 2019
निभाया है मैंने

निभाया है मैंने तहे दिलसे रिश्ता हर एक ।

सनमान दिया है हर रिश्तेको; सोच रही है नेक

भले दूसरों ने इतनी निष्ठा दिखाई हो या नहीं;

भले काईओ को व्यापार लगता हो सही;

पर निभाया है मैंने तो तहे दिल से रिश्ता हर एक ।

रिश्तों में व्यापार और गुस्सा करता है दिलको बेकरार;

रिश्तों में अहम और ईर्षा डालती है फुट और दरार

सच्चे दिल से किया हुआ रिश्ता ही रहता है बरकरार ।

Armin Dutia Motashaw
67
 
Please log in to view and add comments on poems