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Dec 2024
वाह!
परिवर्तन की हवा
देने लगी है
हमारे जीवन में दस्तक ।
आओ , इसके स्वागत के निमित्त
हम खुद को विनम्र बनाएं।
अपने मन और मस्तिष्क के भीतर
सोच की खिड़कियों को खोलें।
स्वयं को भी लें आज टटोल।
हम चाहते क्या हैं ?
फिर बाहर भीतर तक
निष्पक्ष होकर
एक बार स्पष्ट हो लें।
ताकि यह जीवन
परिवर्तन की हवा का स्वागत
अपने विगत के अनुभवों की
रोशनी में
दिल और दिमाग को
खुले रखकर
खुले मन से कर ले।
यही बदलाव की हवा
बनेगी अशांत मनों की
रामबाण दवा।

परिवर्तन की हवा
पहुंचने वाली है
सभी सहृदय मानवों के द्वार पर
आओ हम इस के स्वागत के निमित्त
स्वयं को तैयार कर लें।
अपने मनों से पूर्वाग्रहों और दुराग्रहों की
मैल को अच्छे से साफ कर लें।
अपने जीवन को तनिक समायोजित कर लें।
अपने भीतर संभावना के दीप जगा लें।
२४/१२/२०२४.
Written by
Joginder Singh
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